दिनांक ४ जनवरी २०१५ को, नव वर्ष के उपलक्ष्य में हिंदी और भोजपुरी के गणमान्य विद्वानों की उपस्थिति से द्वारका सेक्टर-२१ स्थित डॉ.रमाशंकर श्रीवास्तव का निवास गुलज़ार रहा. काव्य पाठ, गीत-संगीत एवं विचारों के नव-प्रवाह ने वातावरण पर अपना अद्भुत प्रभाव डाला. राष्ट्र किंकर के संपादक डॉ. विनोद बब्बर की अध्यक्षता में हिंदी, भोजपुरी के नामी विद्वानों जिनमें बलिया के डॉ. अशोक द्विवेदी, परिचयदास, संतोष पटेल, जितेंदर सिंह इत्यादि की उपस्थिति प्रमुखता से रही, वहीं डॉ. राहुल, नत्थी सिंह बघेल जी ने अपनी कविताओं से श्रोताओं का मन मोह लिया. नए कवियों एवं कवियित्रियों, जिनमें मिथिलेश, मधु, कौशलेश आदि थे, उन्होंने अपनी रचनायें प्रस्तुत कीं, जिनका वरिष्ठों ने उत्साहवर्धन किया. स्व.मुकेशजी के गानों पर शोध के लिए मशहूर 'प्रदीप' जी ने म्यूजिक के साथ मुकेश के कई लोकप्रिय गानों पर अपनी प्रस्तुति देकर श्रोताओं को धन्य कर दिया, वहीं हारमोनियम के साथ कल्याणजी ने शास्त्रीय संगीत से कवि-हृदयों को भाव-विभोर कर दिया. डॉ. अशोक द्विवेदी ने ग्रामीण पृष्ठ की कविताओं को उकेरा, तो परिचयदास जी ने प्रेम के ढाई आखरों को अपनी कविता में घोला. पूरे कार्यक्रम के दौरान डॉ. रमाशंकर श्रीवास्तव के गरिमामय, हाजिरजवाब सञ्चालन से श्रोता एवं कवि मुस्कुराते रहे. कार्यक्रम के अंत में अपने अध्यक्षीय उद्बोधन से डॉ. विनोद बब्बर ने सभी वक्ताओं, कवियों के हृदय के झकझोरते हुए डॉ. रमाशंकर श्रीवास्तव की धर्मपत्नी एवं उनके भाई का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि- किसी भी कार्यक्रम में परदे के पीछे की भूमिका कहीं ज्यादा महत्वपूर्ण होती है. दिल्ली की द्वारका एवं कृष्ण की द्वारका की तुलना ने माहौल को ऐतिहासिक संस्मरणों से सीख लेने को प्रेरित किया. कार्यक्रम के अंत में जलपान लेकर सभी विद्वानों, कवियों ने एक दुसरे को नव वर्ष की शुभकामनाएं दीं.
Kavi Sammelan in Dwarka, Delhi
Monday 5 January 2015
New
सुविख्यात साहित्यकार डॉ. रमाशंकर श्रीवास्तव के द्वारका स्थित निवास पर डॉ. विनोद बब्बर की अध्यक्षता में सरस संगोष्ठी का आयोजन - Kavi Sammelan in Dwarka, Delhi
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment